आधुनिक जीवन में अधिकतर लोग डायबिटीज और मोटापे की समस्या से जूझ रहे हैं. मोटापे से छुटकारा पाने के लिए लोग घंटों जिम में पसीना बहाते हैं, स्ट्रिक्ट डाइट फॉलो करते हैं. लेकिन अब आप बिना डाइट और एक्सरसाइज किए भी वजन कम कर सकेंगे. दरअसल, एक नई स्टडी की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि डायबिटीज के मरीजों द्वारा ली जाने वाली दवाई वजन कम करने में अहम भूमिका निभाती है. आइए जानते हैं आखिर ये कौन सी दवाई है और किस तरह वजन कम करती है...
स्टडी की रिपोर्ट में बताया गया है कि टाइप-2 डायबिटीज से पीड़ित करोड़ों लोग मेटफोर्मिन (Metformin) दवाई लेते हैं. करीब 30 हजार लोगों पर 15 सालों तक चली स्टडी की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि टाइप-2 डायबिटीज में ली जाने वाली मेटफोर्मिन गोलियां वजन कम करने में भी मददगार साबित होती हैं.
स्टडी की रिपोर्ट में यह भी दावा किया गया है कि वजन कम करने में यह दवाई डाइट और एक्सरसाइज से ज्यादा असरदार साबित होती है.
शोधकर्ताओं का मानना है कि आने वाले समय में मेटफोर्मिन (Metformin) दवाई मोटापे से पीड़ित लोगों को वजन कम करने के लिए दी जा सकती है.
स्टडी के दौरान मेटफोर्मिन (Metformin) के असर को डाइट और एक्सरसाइज से तुलना कर के देखा गया. इसके लिए लुइसियाना स्टेट यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने मोटापे से पीड़ित करीब 3,234 लोगों पर इसकी जांच की.
स्टडी में शामिल कुछ लोगों को प्लेसबो दिया गया. वहीं कुछ लोगों को एक तय डाइट और एक्सरसाइज प्लान फॉलो करने के लिए कहा गया, जबकि कुछ लोगों को दिन में दो बार 850 मिलीग्राम मेटफोर्मिन दिया गया.
एक साल के बाद नतीजों में पाया गया कि मेटफोर्मिन लेने वाले 28.5 फीसदी, डाइट और एक्सरसाइज फॉलो करने वाले 62.6 फीसदी और प्लेसबो लेने वाले 13.4 फीसदी लोगों ने करीब 5 फीसदी तक वजन कम किया.
हालांकि, स्टडी के पहले साल में डाइट और एक्सरसाइज फॉलो करने वाले लोगों का सबसे अधिक वजन कम हुआ. लेकिन डाइट और एक्सरसाइज की मदद से कम किए हुए वजन को लंबे समय तक नियंत्रण में रखना बहुत मुश्किल था.
स्टडी के खत्म होने तक मेटफोर्मिन लेने वालों ने लगभग 6.2 फीसदी वजन कम किया. वहीं, इसकी तुलना में डाइट और एक्सरसाइज फॉलो करने वालों का सिर्फ 3.7 फीसदी तक वजन कम हुआ और प्लेस्बो लेने वालों का 2.8 फीसदी वजन कम हुआ
स्टडी के सह-लेखक डॉक्टर किशोर गड्डे ने बताया, 'डाइट और एक्सरसाइज फॉलो करने वाले लोगों का कम हुआ वजन लंबे समय तक कंट्रोल में नहीं रहता है. लंबे समय तक वजन को कंट्रोल में रखने के लिए रोजाना गोलियां लेना, डाइट और एक्सरसाइज करने से ज्यादा आसान है.
हालांकि, डॉक्टर किशोर गड्डे का मानना है कि मेटफोर्मिन वजन कम करने मे कितनी असरदार होती है इसकी पुष्टि करने के लिए अभी और रिसर्च करनी बाकी हैं.
बता दें, फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (FDA) या नेशनल हेल्थ सर्विस (NHS) ने वजन कम करने के लिए मेटफोर्मिन गोलियों को खाने को मंजूरी नहीं दी है. लेकिन कुछ डॉक्टर्स टाइप-2 डायबिटीज की बीमारी और मोटापे से पीड़ित लोगों को मेटफोर्मिन गोलियां लेने की सलाह देते हैं.
स्टडी के मुताबिक, डायबिटीज से पीड़ित लोगों में मेटफोर्मिन शरीर में ब्लड ग्लूकोज को कंट्रोल में रखने में मदद करती है.
स्टडी की रिपोर्ट में बताया गया है कि इसको लेने से शरीर में इंसुलिन अधिक मात्रा में प्रोड्यूस नहीं होता है. साथ ही इसको लेने से भूख भी कंट्रोल में रहती है, जो वजन कम करने में मदद करती हैं. लेकिन वजन कम करने के लिए मेटफोर्मिन गोलियां कितनी असरदार होती हैं, इसकी अभी ओर जांच होनी बाकी है.